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कोरबा (KRB24 News): राज्य सरकार के निर्देश अनुसार खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में जिले में धान खरीदी के लिये 44 उपार्जन केन्द्र बनाये गये हैं। कलेक्टर श्रीमती किरण कौशल ने इन सभी उपार्जन केन्द्रों पर धान खरीदी की समुचित व्यवस्था के निरीक्षण-पर्यवेक्षण के लिये 44 नोडल अधिकारी नियुक्त कर दिये हैं। सभी नोडल अधिकारियों को समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन के समय खरीदी गई मात्रा, किसानों को किये गये भुगतान आदि की माॅनीटरिंग के निर्देश भी जारी किये गये हैं।
इस संबंध में कलेक्टर श्रीमती किरण कौशल ने बताया कि छत्तीसगढ़ में धान खरीदी व्यापक रूप से की जाती है। खरीदी केन्द्रों में किसानों को समर्थन मूल्य पर धान बेचने में कोई परेशानी न हो और वे आसानी से अपनी फसल को सही समय पर सही दाम पर बेच सकें, इसके लिये जिला प्रशासन ने तैयारियाॅं शुरू कर दी हैं। उपार्जन केन्द्रों में मूलभूत आवश्यकताओं जैसे- साफ-सफाई, विद्युत व्यवस्था, कम्प्यूटर, प्रिंटर, यूपीएस, इंटरनेट की व्यवस्था सुनिश्चित की जा रही है। श्रीमती कौशल ने बताया व्यवस्थाआंे को सही ढंग से समय पर पूरा करने के लिये 44 नोडल अधिकारी भी नियुक्त कर दिये गये हैं। उपार्जन केन्द्रों पर आर्द्रतामापी यंत्र, तौल यंत्र, बारदानों के साथ-साथ चबूतरों की संख्या और बारिश की स्थिति में धान को ढॅंकने के लिये तारपोलिन आदि की व्यवस्था भी की जा रही है।
किसानों को उपार्जन केन्द्रों पर मूलभूत सुविधाओं के साथ-साथ आपात स्थिति में प्राथमिक उपचार की भी व्यवस्था की जायेगी। धान खरीदी शुरू होने के पहले पटवारियों से पंजीकृत किसानों की सूची और उनकी पूरी डाटा एन्ट्री कम्प्यूटर साॅफ्टवेयर में कर ली जायेगी।
श्रीमती कौशल ने बताया कि धान खरीदी के लिये नियुक्त सभी 44 नोडल अधिकारी उपार्जन केन्द्रों में धान की आवक, मिलरों को प्रदाय धान की मात्रा, धान की शेष मात्रा, प्राप्त बारदानों की संख्या, धान खरीदी में उपयोग किये गये बारदानों की संख्या तथा शेष बारदानों का सत्यापन भी करेंगे। धान खरीदी के समय किसानों के धान की तौलाई उसी दिन होगी। बोरों की सिलाई कर स्केटिंग लगाने का काम भी साथ-साथ किया जायेगा। उपार्जन केन्द्रों द्वारा आधे नये एवं आधे पुराने बारदानों का उपयोग धान खरीदी के लिये किया जायेगा। धान खरीदी केन्द्रों में केवल पंजीकृत किसानों से ही धान का उपार्जन होगा। बिचैलियों से धान की खरीदी नहीं की जायेगी। धान खरीदी केन्द्रों में पंजीकृत किसानों से खरीदे गये धान का तत्काल भुगतान ऑनलाइन किया जायेगा।
धान खरीदी केन्द्रों के निरीक्षण के दौरान नोडल अधिकारी मौके पर उपस्थित किसानों से पर्याप्त पूछताछ भी करेंगे और उनकी ऋण पुस्तिकाओं का अवलोकन कर विक्रय की गई धान की मात्रा आदि जानकारियों की पुष्टि भी करेंगे। दो से अधिक बार धान बेचने आने वाले किसानों से उनकी उपज के संबंध में सम्पूर्ण ब्यौरा लिया जायेगा और संबंधित पटवारी से सत्यापन भी कराया जायेगा।