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कोरबा 06 सितंबर 2021(KRB24NEWS) : कोरबा शहर की गरीब स्लम बस्तियों में रहने वाले आर्थिक रूप से कमजोर लोगों के ईलाज के लिए अस्पताल सीधे उनके दरवाजे पर पहुंच रहा है। मुख्यमंत्री शहरी स्लम स्वास्थ्य योजना के तहत चलित मेडिकल युनिट स्लम बस्तियों में पहुंचकर लोगों की स्वास्थ्य जांच कर रहीं हैं और मरीजों का मौके पर ही ईलाज हो रहा है। कोरबा में दस महीने पहले छह नवंबर 2020 को पहली मोबाइल युनिट गरीबों के ईलाज के लिए स्लम बस्तियों में जाना शुरू हुई थी। अब छह मोबाइल युनिटों से हर दिन स्लम बस्तियों में शिविर लगाकर लोगों की जांच और उनका मुफ्त में ईलाज किया जा रहा है। कोरबा शहर में मोबाइल मेडिकल युनिटों से ईलाज कराने वाले गरीब लोगों का आंकड़ा एक लाख को पार कर गया है। कोरबा शहर में ही अभी तक गरीब तबके के एक लाख 776 लोगों का ईलाज इन युनिटों से किया गया है। अब तक इसके लिए एक हजार 750 मोबाइल कैम्प लगाए जा चुके हैं। खास बात यह है कि पिछले तीन महीने में मोबाइल मेडिकल युनिटों की पहुंच तेजी से बढ़ी है। पिछले तीन महीनों में ही साढ़े 47 हजार से अधिक लोगों का ईलाज इन चलित अस्पतालों में हो चुका है। जबकि इसके पहले सात महीनों में लगभग 53 हजार गरीबों का ईलाज हुआ था। केवल पिछले महीने ही आठ मोबाइल मेडिकल युनिटों से शहर में लगभग साढ़े 18 हजार मरीजों का ईलाज किया गया है। एक लाख से अधिक मरीजों के ईलाज की उपलब्धि पा लेने पर मेडिकल युनिट टीम का डॉक्टरों और अधिकारियों ने उत्साहवर्धन किया है साथ ही इन युनिटों में ईलाज कराकर स्वास्थ्य लाभ लेने वाले दस मरीजों का सम्मान कर इस अवसर को सैलिब्रेट भी किया गया है।
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की सभी को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा समय पर उपलब्ध कराने की सोच को साकार करते हुए शहरी स्लम क्षेत्रों में गरीबों के ईलाज में यह मोबाइल मेडिकल युनिट संजीवनी साबित हो रहीं हैं। मोबाइल मेडिकल युनिटों में सुसज्जित पैथोलॉजी लैब भी हैं। इन लैबों में आवश्यकतानुसार मरीजों के खून-पेशाब आदि की 41 प्रकार की जांच निःशुल्क की जा रही है। इसके साथ ही विभिन्न बीमारियों के ईलाज के लिए 95 प्रकार की दवाईयां भी बिना किसी शुल्क के मरीजों को दी जा रही है। एक लाख का आंकड़ा पार करने के अवसर पर शहर के प्रथम नागरिक महापौर श्री राजकिशोर प्रसाद ने पंप हाउस वार्ड के निवासियों श्रीमती सीता बाई चौहान, श्रीमती नत्थु राम का पौधे भेंट कर सम्मान किया। इन दोनों ने मेडिकल युनिट में ही अपना ईलाज कराया है। इसके साथ ही अलग-अलग वार्डों में भी पहुंची मेडिकल युनिट के डॉक्टरों ने देवशरण, चेतनदास, पूजा साहू, ईश्वरी दास, करूणा देवी, छाया देवी, सुन्नी साहू आदि ईलाज करा चुके मरीजों को सम्मानित किया और योजना की सफलता के लिए सहयोग करने पर आभार जताया।
छत्तीसगढ़ सरकार की इस महती योजना की जितनी प्रशंसा की जाए उतनी कम है। चलते-फिरते अस्पताल से गरीब स्लम बस्तियों में रहने वाले लोगों तक डॉक्टर पहुंच रहें हैं। निःशुल्क जांच, बिना पैसे के खून-पेशाब की जांच, के साथ फ्री दवाई गरीब परिवारों के लिए जीवन बचाने वाली संजीवनी साबित हो रही है। गरीब महिलाओं, गर्भवती माताओं, किशोरी बालिकाओं के लिए यह मोबाइल युनिट केवल अस्पताल ही नहीं बल्कि स्वास्थ्य संबंधी जानकारियों के लिए अच्छे काउंसलिंग सेंटर भी साबित हो रहे हैं। उम्र के साथ महिलाओं में होने वाले शारीरिक परिवर्तनों से लेकर शादी-ब्याह, परिवार नियोजन आदि से सम्बन्धित कई उपयोगी जानकारियां इन युनिटों में लोगों को मिल रही है। गरीब परिवारों में बीमारी किसी बड़ी आपदा से कम नहीं है। ऐसे में घर के कमाने वाले मुखिया के बीमार हो जाने पर परिवार की माली हालत बिगड़ती ही जाती है। बीमार को अस्पताल ले जाना, कई प्रकार की जांच और फिर महंगी दवाईयों से परिवार पर दोहरा आर्थिक बोझ पड़ता है। मुख्यमंत्री शहरी स्लम स्वास्थ्य योजना की मेडिकल युनिट ने निःशुल्क ईलाज की घर पहुंच सेवा देकर गरीबों की इस चिंता को पूरी तरह से खत्म कर दिया है।